लखनऊ: पिछले 2 साल में प्राकृतिक आपदा से हुए फसल के नुकसान का मुआवजा दिया जाएगा। 52 जिलों के ऐसे किसानों के लिए योगी सरकार की ओर से 83 करोड़ रुपए से ज्यादा की मुआवजा राशि जारी कर दी गई है। ये वो किसान हैं जो तकनीकी कारणों से मुआवजा कैटेगरी से चूक गए थे। बाढ़, ओलावृष्टि, अत्यधिक वर्षा के कारण 33% से अधिक फसल की क्षति पर योगी सरकार किसानों को क्षतिपूर्ति देती है। हालांकि ऑनलाइन प्रक्रिया के दौरान कुछ जिलों में कई किसान लाभ से वंचित रह गए थे। ऐसे किसानों को मुख्यमंत्री योगी ने मुआवजा देने के निर्देश दिए हैं।
राहत आयुक्त जीएस नवीन कुमार ने बताया कि योगी आदित्यनाथ के निर्देश पर मुआवजे से छूटे किसानों के लिए प्रदेश के सभी जिलों में दोबारा सर्वे कराया गया। सर्वे के आधार पर वित्तीय वर्ष 2021-22 और वर्ष 2022-23 में आपदाओं से क्षतिग्रस्त फसलों के मुआवजे से छूटे किसानों के लिए अब तक कुल 83,13,46,875 रुपए जारी किए गए हैं। उन्होंने बताया कि आपदाओं से क्षतिग्रस्त फसलों से प्रभावित बड़ी तादाद में किसानों के डाटा फीडिंग के दौरान आधार, खाता संख्या में गलती और डुप्लीकेसी के कारण मुआवजे का भुगतान नहीं हो पाता है। ऐसे में दोबारा सर्वे कराकर मुआवजे से वंचित किसानों को धनराशि शिफ्ट की जा रही है।
राहत आयुक्त जीएस नवीन कुमार ने बताया कि 6 जिलों, जिनमें हमीरपुर, सहारनपुर, कानपुर देहात, बांदा, चंदौली और प्रयागराज शामिल हैं, के लिए 38 करोड़ से ज्यादा की राशि जारी राहत विभाग ने जनवरी और फरवरी 2024 के दौरान ओलावृष्टि से क्षतिग्रस्त फसलों के लिए 6 जिलों के किसानों हेतु 38 करोड़ से ज्यादा की मुआवजा राशि बुधवार को जारी कर दी है। जिलाधिकारी की सर्वे रिपोर्ट के आधार पर हमीरपुर के लिए 23,29,10,370 रुपए, सहारनपुर के लिए 10,00,000 रुपए, कानपुर देहात के लिए 4,00,00,000 रुपए, बांदा के लिए 9,72,30,244 रुपए, चंदौली के लिए 26,708 रुपए और प्रयागराज के लिए 1,50,00,000 रुपए समेत कुल 38,61,67,322 रुपए की मांग की गई थी, जिसे जारी किया जा रहा है। अब जनपद स्तर पर इस राशि को प्रभावित किसानों को प्रदान किया जाएगा।