हरदोई। पीएम किसान सम्मान निधि पाने वाले किसानों के साथ ही नए आवेदन करने वाले किसानों के लिए फार्मर रजिस्ट्री की अनिवार्यता की गई है। किसानों को फार्मर रजिस्ट्री कराने के लिए प्रेरित किया जा रहा है। जिले में आठ लाख से अधिक किसान हैं। जबकि अभी तक करीब पांच लाख किसानों की ही फार्मर रजिस्ट्री हो पाई है।
सभी किसानों की फार्मर रजिस्ट्री कराई जानी है। फार्मर रजिस्ट्री कराए जाने के लिए राजस्व और कृषि विभाग की तरफ से अभियान भी चलाए गए हैं। वहीं अब भारत सरकार ने पीएम किसान के लिए फार्मर रजिस्ट्री की अनिवार्यता कर दी है। जिससे सभी किसानों को फार्मर रजिस्ट्री करानी होंगी।
बताया गया कि फार्मर रजिस्ट्री नियमित प्रक्रिया है। कारण है कि किसान की मौत के उनके आश्रित के नाम पर खेती आने से किसानों की संख्या में बढ़ोतरी होती है। और उन सभी आश्रितों की नए सिरे से फार्मर रजिस्ट्री होना जरूरी हो जाता है। जिले में पीएम किसान सम्मान निधि के करीब आठ लाख लाभार्थी हैं। जिसमें से करीब पांच लाख लाभार्थियों की फार्मर रजिस्ट्री हो चुकी है।
वरासत के भी फार्मर रजिस्ट्री कराना जरूरी
परिवार के किसान मुखिया की मौत के बाद उनके आश्रितों के नाम पर भूमि की वरासत दर्ज की जाती है। जिससे एक किसान के सभी आश्रितों के नाम पर भूमि आने से दोबारा से सभी आश्रितों को फार्मर रजिस्ट्री कराना जरूरी होता है। राजस्व विभाग को वरासत के साथ ही फार्मर रजिस्ट्री भी कराए जाने की जिम्मेदारी दी गई है।
पीएम किसान सम्मान निधि पाने वाले किसानों के साथ ही नए आवेदन करने वाले किसानों के लिए फार्मर रजिस्ट्री कराना अनिवार्य किया गया है। भारत सरकार की तरफ से पोर्टल पर अब पीएम किसान के लिए आवेदन किए जाने के समय ही फार्मर रजिस्ट्री की अनिवार्यता दी गई है। फार्मर रजिस्ट्री के बिना अब पीएम किसान सम्मान निधि के लिए आवेदन की प्रक्रिया ही पूरी नहीं हो पाएगी। सभी किसानों से कहा गया है कि वह अपनी फार्मर रजिस्ट्री अवश्य करा लें।