शाहाबाद/हरदोई । सरकार का दावा है कि उसने पूरे प्रदेश में मिट्टी और रेत खनन का कारोबार बंद करवा दिया है लेकिन हकीकत इसके ठीक विपरीत है। शाहाबाद जैसी छोटी तहसील में मिट्टी खनन माफियाओं ने खूब गदर काटा। फावड़े के परमीशन के नाम पर रात्रि के वक्त जेसीबी मशीन चलाकर गांव के गांव तालाब बनाने का प्रयास किया गया।
शाहाबाद तहसील क्षेत्र में खनिज विभाग की अनिभिज्ञता और शाहाबाद कोतवाली पुलिस की मिली भगत के चलते मिट्टी खनन का काम खूब किया गया। किसानों के इंतखाब के नाम पर फावड़े से मिट्टी खोदने का परमिशन लेकर पांच पांच ट्राली के स्थान पर 50-50 ट्राली मिट्टी का खनन किया गया। दिन में फावड़े चलाए गए और रात्रि में जेसीबी से जमीनों को उधेड़ दिया गया।
शाहाबाद ब्लॉक की ग्राम पंचायत नरहाई को यहां के चार मिट्टी माफियाओं ने तालाब बनाने में कोई कसर बाकी नहीं रखी। शाहाबाद का एक बिल्डिंग मैटेरियल कारोबारी, भुडिया का रहने वाला एक कथित नेता और नरहाई गांव के दो मिट्टी माफियाओं ने पूरे नरहाई इलाके को तालाब में तब्दील कर दिया। दिन के वक्त फावड़े चला कर परमीशन के नाम पर खुदाई की गई लेकिन दो ट्राली के परमीशन के स्थान पर पूरे के पूरे खेत तालाब बना दिए गए।
खनिज विभाग से जब पूछा गया तो खनिज विभाग पूरी तरह से अनभिज्ञता जाहिर करता रहा। हुआ यह की मिट्टी माफिया ने स्थानीय कोतवाली पुलिस से सांठगांठ की और सीधे मिट्टी का खनन शुरू कर दिया। रात दिन मिट्टी का खनन होता रहा।
ग्राम पंचायत मिठनापुर में तो मिट्टी माफिया ने हद कर दी। रात्रि के वक्त हैलोजन लाइट लगाकर जेसीबी मशीन से कप्तान सिंह गार्डन के पास खुदाई की गई। रात्रि में ही उच्च अधिकारियों से शिकायत होने के बाद जेसीबी से खनन रोक दिया गया। लेकिन दबंग मिट्टी माफिया नहीं माना।
उसने सुबह के वक्त स्थानीय पुलिस से बात करके फिर कार्य शुरू किया लेकिन फिर इस मिट्टी माफिया की शिकायत जिला मुख्यालय पर की गई और खनन रुकवा दिया गया। कुल मिलाकर मिट्टी माफियाओं और स्थानीय पुलिस की मिली भगत के चलते पिछले माह बंपर मिट्टी खनन का कार्य किया गया।
रिपोर्ट- राम प्रकाश राठौर